गुलकंद का नाम सुनते ही आपके दिमाग में वो मीठा पान आ जाता होगा, जिसे आप खासतौर पर पानवाले को बोलकर अपने लिए बनवाते होंगे। मगर गुलकंद का इस्तेमाल बस पान तक ही सीमित नहीं है। गुलाब की पंखुड़ियों से बना मीठा-मीठा गुलकंद अपने अनोखे स्वाद और सुगंध के लिए जाना जाता है। गुलकंद के स्वास्थ्य लाभ इसे कई आयुर्वेदिक दवाओं और उपचारों में एक प्रमुख इंग्रीडिएंट बनाते हैं। आप में से कई लोगों ने पारंपरिक पान या माउथ फ्रेशनर में गुलकंद का स्वाद चखा तो खूब चखा होगा मगर क्या आप जानते हैं अपने दैनिक जीवन में गुलकंद खाने के फायदे (Gulkand ke Fayde) भी अनेक हैं। मगर उससे पहले ये जान लेना बहुत जरूरी है कि गुलकंद क्या होता है (gulkand kya hota hai)? हम यहां आपको गुलकंद के फायदे से लेकर गुलकंद खाने के नुकसान (gulkand ke nuksan) तक सभी जानकारी दे रहे हैं। ओरिगैनो के फायदे
गुलकंद क्या होता है? – Gulkand Kya Hota hai
गुलकंद गुलाब की ताज़ी पंखुड़ियों से तैयार किया जाता है। दिखने में गुलकंद एक मुरब्बे जैसा लगता है। इसे गुलाबी रंग के गुलाब (Pink Rose) की एक किस्म दमास्क से बनाया जाता है, जो अपनी मादक, मीठी सुगंध के लिए जानी जाती है और आज भी तुर्की, पाकिस्तान, ईरान, बुल्गारिया, यूरोप, भारत और सीरिया में व्यापक रूप से उगाई जाती है। इतिहासकारों का मानना है कि इस गुलाब ने पहली बार 900 ईसा पूर्व में उत्तरी फारस में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई और फिर एशिया माइनर और ग्रीस में फैल गया। इसका उपयोग नेत्र रोगों, सिरदर्द और दिल के इलाज के लिए किया जाता था। गुलकंद बनाने की विधि के लिए गुलाब की पंखुड़ियों के साथ शक्कर का भी इस्तेमाल किया जाता है। यह शरीर को ठंडक पहुंचाता है इसलिए ज्यादातर इसका इस्तेमाल गर्मी के मौसम में किया जाता है। वजन घटाने के लिए चिया के बीज का उपयोग
Gulkand ke Fayde – गुलकंद के फायदे
- पेट की गैस में फायदेमंद
- मुंह के छाले ठीक करे
- वजन घटाने में फायदेमंद
- आंखों के लिए गुलकंद रहता है फायदेमंद
- थकान मिटाए गुलकंद
- गर्भावस्था में गुलकंद रहता है फायदेमंद
- पीरियड में भी दे राहत
- तनाव कम करे
गुलाब की पंखुड़ियों में 80 से 95% पानी की मात्रा होती है। गुलाब की पंखुड़ियां विटामिन सी का एक उत्कृष्ट स्रोत हैं। यह विटामिन बी, विटामिन ई और विटामिन के का भी एक अच्छा स्रोत है। गुलाब की पंखुड़ियां कैरोटीन, कैल्शियम, मैग्नीशियम और कॉपर का भी एक अच्छा स्रोत हैं। गुलाब की पंखुड़ियां फिनोल और फ्लेवोनोइड जैसे एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होती हैं। गुलकंद के स्वास्थ्य लाभों में शरीर में अधिक गर्मी या बाहर के गर्म तापमान के कारण होने वाली विभिन्न बीमारियों में इसका उपयोग शामिल है। अधिक गर्मी के कारण होने वाले रोगों को आयुर्वेद में पित्त रोग के रूप में जाना जाता है। इन रोगों के लिए गुलकंद सर्वोत्तम औषधि है। मगर गुलकंद के फायदे (gulkand ke fayde) यहीं तक सीमित नहीं हैं। हम यहां आपको गुलकंद खाने के फायदे (benefits of gulkand in hindi) के बारे में बता रहे हैं।
पेट की गैस में फायदेमंद – Pet ki Gas ke Liye Gulkand
एसिडिटी और पेट की गैस दुनिया भर में एक आम समस्या है। इसके लिए कई लोगों को रोजाना खाली पेट एंटासिड दवाएं लेनी पड़ती हैं। कुछ लोगों को गले में जलन, सीने में जलन, मुंह या गले में खटास, अपच और पेट में दर्द भी महसूस होता है। आप अपने दैनिक जीवन में गुलकंद का उपयोग करके इन सभी समस्याओं से छुटकारा पा सकते हैं। आप रोज रात को सोने से ठीक पहले गुलकंद खाएं और पेट की गैस में फायदा पाएं।
मुंह के छाले ठीक करे – Mouth Sore ke Liye Gulkand
गुलकंद एक ठंडी हर्बल सामग्री है, जिसका सेवन शरीर में ठंडक प्रदान करने का काम करता है। यह मुंह के छालों न सिर्फ ठीक करता है बल्कि मुंह के छालों के कारण होने वाली मुंह में जलन और दर्द को कम करने में मदद करता है। गुलकंद में विटामिन-बी समूह की मात्रा पाई जाती है, जिससे मुंह के छाले ठीक होते हैं।
वजन घटाने में फायदेमंद – Wajan Ghatane ke Liye Gulkand
गुलकंद के औषधीय गुणों को देखते हुए वजन घटाने के लिए गुलकंद का सेवन किया जा सकता है। गुलाब की पत्तियों का उपयोग गुलकंद बनाने के लिए किया जाता है। इनमें वसा नहीं होती है, इसलिए कम वसा वाले खाद्य पदार्थों का सेवन वजन घटाने के लिए किया जा सकता है। आयुर्वेद में भी वजन काम करने के लिए गुलाब का इस्तेमाल किया जाता रहा है।
आंखों के लिए गुलकंद के फायदे – Aankho ke Liye Gulkand ke Fayde
आंखों के लिए भी गुलकन के फायदे असरदार हैं। इसकी तासीर ठंडी होती है। गुलकंद आंखों की रोशनी में भी सुधार करता है और कंजक्टिवाइटिस को ठीक करने में मदद करता है। कंजक्टिवाइटिस के लिए, यह अन्य आयुर्वेदिक दवाओं के लिए सहायक के रूप में प्रयोग किया जाता है।
थकान मिटाए गुलकंद – Thakan Mitane ke Liye Gulkand
सोते समय गुलकंद का दूध पिएं। दूध और गुलकंद प्राकृतिक शीतलक हैं और एक आरामदायक नींद सुनिश्चित करेंगे। मन को शांत करने, तनाव और थकान को दूर करने में मदद करने के लिए गुलाब सबसे प्रभावी प्राकृतिक तत्व हैं। गुलकंद में एंटीऑक्सीडेंट पाया जाता है, जो शरीर को ऊर्जावान बनाने का काम करता है।
गर्भावस्था में गुलकंद के फायदे – Pregnancy me Gulkand ke Fayde
गुलकंद में जीवाणुरोधी और एंटीवायरल गुण होते हैं जो रक्त को शुद्ध करने के लिए शरीर से विषाक्त पदार्थों को निकाल सकते हैं, जो गर्भावस्था के दौरान बहुत महत्वपूर्ण है। यह गर्भावस्था के दौरान गर्भवती महिलाओं में तनाव को दूर कर उन्हें अच्छी नींद लेने में भी सहायक है। इसके अलावा गर्भवती माताओं को हर दिन शरीर में नई समस्याएं आती हैं, और सबसे आम समस्या कब्ज की होती है। गुलकंद में चीनी की मात्रा आंत में तरल पदार्थ की मात्रा को बढ़ाती है, जिससे कब्ज से लड़ने में मदद मिलती है।
पीरियड में भी दे राहत
मासिक धर्म के पहले दिन हल्का दर्द होना सामान्य है, लेकिन जब यह दैनिक जीवन की गतिविधियों में परेशानी का कारण बनने लगे, तो महिलाओं को दवा की जरूरत होती है। गुलकंद इस समस्या का प्राकृतिक समाधान है। यह पीरियड्स के दौरान पेट में ऐंठन और दर्द को कम करता है। पीरियड के दौरान के दौरान अधिक दर्द या फिर ऐंठन से न जूझना पड़े इसके लिए महिलाओं को कम से कम 3 महीने तक नियमित रूप से गुलकंद का सेवन करना चाहिए।
तनाव कम करे
गुलकंद एक सामान्य टॉनिक है, जो थकान, मांसपेशियों में दर्द, जलन, सुस्ती और मानसिक तनाव को कम करने में मदद करता है। भारत में कई छात्र याददाश्त में सुधार और परीक्षा संबंधी तनाव को कम करने के लिए गुलकंद का उपयोग करते हैं।
गुलकंद बनाने की विधि – Gulkand Banane ki Vidhi
वैसे तो गुलकंद बाजार में आसानी से उपलब्ध है लेकिन अगर आप इसे खुद घर पर बनाना चाहते हैं तो हम आपको यहां गुलकंद गुलकंद बनाने की विधि (Gulkand Banane ki Vidhi) बता रहे हैं। इसके लिए आपको चाहिए-
– 200 ग्राम ताज़ी गुलाब की पखुड़ियां
– 100 से 200 ग्राम शक्कर
गुलकंद बनाने की विधि:
– ताजी गुलाब की पंखुड़ियां शक्कर को लें।
– अब गुलाब की पंखुड़ियों को हाथों से मसल लें और चीनी के क्रिस्टल को पीसकर पाउडर बना लें।
– कुटी हुई गुलाब की पंखुड़ियां और चीनी को एक साथ मिलाएं।
– मिश्रण को कांच के जार में भरकर धूप में रख दें।
– आपको इसे कुछ दिनों के लिए धूप में रखने की आवश्यकता हो सकती है।
गुलकंद कैसे खाएं – Gulkand Khane ka Tarika
अब गुलकंद कैसे खाएं, यह भी एक बड़ा सवाल है। हमने आपको गुलकंद खाने के फायदे और गुलकंद बनाने की विधि के बारे में तो बता दिया। अब जानिए गुलकंद कैसे खाएं। इसे आप कई तरह से खा सकते हैं। यह स्वाद में मीठा होता है इसलिए आप चाहें तो इसे ब्रेड में लगाकर खा सकते हैं। इसके अलावा सीधे तौर पर भी आप गुलकंद का सेवन कर सकते हैं। इसे दूध के साथ उबालकर या फिर पानी के साथ भी ले सकते हैं।
गुलकंद के नुकसान – Gulkand ke Side Effects
हर चीज़ के अपने फायदे और नुकसान होते है। अगर गुलकंद खाने के फायदे हैं तो गुलकंद खाने के नुकसान () भी हैं। गुलकंद का एकमात्र नुकसान मधुमेह रोगियों के लिए है। इसमें शुगर की मात्रा भरपूर होती है, इसलिए यह आपके ब्लड शुगर लेवल को बढ़ा सकता है। इसलिए, गुलकंद मधुमेह के रोगियों को न खाने की सलाह दी जाती है।
गुलकंद के फायदे के बारे में पूछे जाने वाले सवाल-जवाब-FAQ’s
सवाल- गुलकंद कब और कैसे खाना चाहिए?
जवाब- गुलकंद सुबह या शाम के नाश्ते में खाया जा सकता है। इसे आप सीधे तौर पर भी खा सकते हैं।
सवाल- गुलकंद का सेवन कैसे करे?
जवाब- गुलकंद का सेवन कई तरह से किया जा सकता है। ऊपर बताए गए तरीकों से आप गुलकंद के सेवन कर सकते हैं।
सवाल- कब्ज में गुलकंद कैसे और कितना ले?
जवाब- कब्ज में खाना खाने के बाद 1 से 2 चम्मद गुलकंद का सेवन किया जा सकता है।
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