नमक के बिना स्वाद कहां? कहते हैं कि नमक न हो तो खाने में तो मजा न आए। लेकिन क्या कभी आपने यह सोचा है कि नमक मुंह को संतुष्ट करने के साथ ही स्वास्थ्य के लिहाज से भी बढ़िया हो सकता है। यह सौ फीसदी सच है कि नमक युक्त पानी से नहाने (salt water bath in hindi) के कई फायदे हैं। यह न केवल कई तरह की बीमारियों से बचाता है बल्कि हमें पॉजिटिव यानि सकारात्मक बनाए रखने में भी मदद करता है। सेंधा नमक के फायदे
नमक के पानी से नहाने के फायदे – Salt Water Bath Benefits In Hindi
नमक के पानी से नहाने के नुकसान – Side Effects Of Salt Water In Hindi
सोडियम और क्लोराइड का कॉम्बिनेशन यह प्राकृतिक मिनरल सीधे धरती से क्रिस्टल के रूप में हमारे पास आता है। सुमद्री नमक में यह प्राकृतिक तौर पर पाया जाता है। नमक एक ऐसा प्राकृतिक खजाना है, जिसमें कई पोषक तत्व छिपे होते हैं जो हमारे जीवन के लिए बहुत जरूरी हैं। नमक हमें सल्फर, कैल्शियम, सोडियम, मैग्नीशियम, सिलिकन, बोरोन, पोटैशियम, ब्राोमाइन और स्ट्रोन्शियम जैसे जरूरी मिनरल्स प्रदान करता है। अपने बेहतरीन मिनरल कंटेंट के कारण नमक वजन कम करने, स्किन को खूबसूरत बनाने, अस्थमा के लक्षण कम करने, ब्लड शुगर स्तर दुरुस्त करने, शरीर के दर्द को कम करने और दिल को सेहतमंद रखने में भी मददगार है। नमक के पानी से नहाने के लिए आपका बीमार होना जरूरी नहीं है। यह क्लींजिंग और स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए भी बहुत अच्छा होता है।
नमक के पानी में नहाने का पुराना इतिहास है। लगभग 500 साल पहले हिप्पोक्रेट्स, जो कि मेडिसिन के पितामह माने जाते हैं, ने देखा कि कुछ मछुआरे जिनके हाथ पर चोट लगी हुई थी, वे समुद्र के पानी में अपने हाथ को भिगो रहे थे। इसके बाद हिप्पोक्रेट्स ने अपने रोगियों को गरम समुद्री पानी में नहाने के लिए उत्साहित किया, जिसे उन्होंने थैलेसोथेरेपी का नाम दिया। ग्रीक में थैलेसा का मतलब समुद्र है। इस तरह के स्नान से रक्त और पाने के बीच टॉक्सिन बाहर निकलता है, साथ ही रक्त में मिनरल का संतुलन बना रहता है।
1982 में इजरायल में हुए एक अध्ययन में शोधकर्ताओं ने पाया कि नमक वाले पानी में नहाने से दर्द से राहत मिलती है और इलाज के बाद व्यक्ति जल्दी चल- फिर पाने में समर्थ हो जाता है। एक अन्य अध्ययन के अनुसार नमक वाले पानी में स्नान के बाद ऑस्टिआर्थराइटिस और टेंडॉन्टिस से राहत मिलती है। इसके साथ ही खुजली, अनिद्रा और स्किन संबंधी तमाम परेशानियों से भी राहत मिलती है। अध्ययन में यह भी पाया गया कि बार- बार होने वाले इंफेक्शन में भी नियमित तौर पर नमक वाले पानी से नहाने में स्वास्थ्य ठीक रहता है। यही नहीं, कीड़े के काटने और चोट में भी नमक के पानी से स्नान आराम प्रदान करता है।
नहाने में प्रयोग किए जाने वाले नमक साधारण नहीं बल्कि अलग तरह के होते हैं, जिनके कई चिकित्सकीय लाभ हैं। यह लाभ न केवल स्किन के लिए बढ़िया हैं बल्कि हमारे स्वास्थ्य को भी दुरुस्त करते हैं।
प्राकृतिक सी सॉल्ट यानी समुद्री नमक के कई सारे फायदे हैं (sea salt benefits in hindi) और इसमें कई मिनरल्स होते हैं, जिनकी हमारे शरीर को आवश्यकता होती है। जैसे- मैग्नीशियम, कैल्शियम, सोडियम और पोटैशियम। ये सब हमारे स्किन के हेल्थ में अहम भूमिका निभाते हैं। इनके प्रयोग से सेल्स एक- दूसरे के संपर्क में आती हैं और हीलिंग की प्रक्रिया शुरू हो जाती है। यदि आपको कोई मिनरल पर्याप्त मात्रा में नहीं मिलता है तो आपकी स्किन रूखी, बेजान और इरिटेटेड दिखने लगती है। समुद्री नमक (sea salt in hindi) यहां लाभकारी साबित हुआ है, जो स्किन में हाइड्रेशन को प्राकृतिक तौर पर दुरुस्त करता है और स्किन की बाहरी सतह में कसाव भी लाता है। इसी का नतीजा है कि आप युवा दिखते हैं।
नाम से लगता है कि यह नमक हिमालय में पाया जाता होगा लेकिन हिमालय में नमक की कोई खदान नहीं है। पिंक सॉल्ट के स्लैब खेवरा नमक खदान से आते हैं, जो हिमालय के पश्चिम में करीब 300 माइल्स दूर है। यह विश्व का दूसरी सबसे बड़ी नमक की खदान है। इसमें 95 प्रतिशत सोडियम क्लोराइड होता है। बाकी पॉलीहैलाइट और अन्य मिनरल्स होते हैं, जो इस नमक को गुलाबी रंग का बनाते हैं। प्रोसेसिंग की कमी की वजह से इस नमक में कई लाभकारी मिनरल्स होते हैं।
एप्सम सॉल्ट का नाम अपने केमिकल स्ट्रक्चर की वजह से पड़ा है। इंग्लैंड में एप्सम नाम की एक जगह है, जहां प्राकृतक झरने में यह पाया जाता है। यह आपको अधिकतर केमिस्ट स्टोर में मिल जाएगा। एप्सम सॉल्ट डिटॉक्स बेदिंग के लिए बढ़िया विकल्प है, जिसे शरीर केे संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए सही माना जाता है। डिटॉक्स बाथ के लिए बालटी में चलते पानी की धार में 2 कप एप्सम सॉल्ट डालें। इस तरह से यह पानी में जल्दी घुल जाता है। चाहें तो इसमें लैवेंडर या पेपरमिंट ऑयल डालकर इसे एरोमाथेरेपी में भी तब्दील किया जा सकता है। एरोमाथेरेपी आपके मूड को दुरुस्त करने के साथ ही मानसिक शांति प्रदान करता है। यह डिटॉक्स बाथ कब्ज को भी दूर करने में मददगार है। आइये अब जानते हैं कि नमक के पानी से नहाने से क्या होता है?
नमक के बिना हमारा भोजन यानि खाना अधूरा रहता है। हम चाहे कितने भी मसाले क्यों न डाल लें, यदि उसमें नमक न हो तो इसके स्वाद का पता ही नहीं चलता। नमक का पानी इसी तरह से नहाने के लिहाज से भी बहुत फायदे वाला है (namak wale pani se nahane ke fayde)।
नमक में कई मिनरल और न्यूट्रिएंट्स होते हैं, जो आपकी स्किनके लिए फायदेमंद हैं। इसमें निहित मैग्नीशियम, कैल्शियम, ब्राोमाइड, सोडियम आदि स्किन के रोम छिद्रों में प्रवेश करके स्किन को साफ करके इसे शाइनी बनाते हैं।
नमक वाले पानी से नियमित स्नान स्किन को साफ करके नरम और कोमल भी बनाता है। नमक में निहित मैग्नीशियम स्किन में पानी को देर तक बनाए रखता है। इससे स्किन में नमी का संतुलन बना रहता है और स्किन में कसावट भी आती है।
नमक के पानी से नहाने से शरीर में व्याप्त जहरीले तत्व और कीटाणु बाहर निकल जाते हैं। चूंकि नमक को गुनगुने या गरम पानी में डालकर नहाने की सलाह दी जाती है तो नमक युक्त गरम पानी स्किन के रोम छिद्रों को खोलकर अच्छी तरह से सफाई करता है। यह सफाई स्किन को युवा और चमकदार बनाने के लिए पर्याप्त है।
आप अपने स्किन पर आए एक्ने और पिंपल्स को लेकर परेशान हैं। आखिरकार ये आपकी खूबसूरती को कम जो करते हैं। इसे ठीक करने के लिए आप चाहें तो नमक युक्त पानी में स्नान करें। या फिर चाहें तो एक कप पानी में एक चम्मच समुद्री नमक डालकर रुई की मदद से चेहरे के प्रभावित हिस्से पर लगाएं। लेकिन साथ ही अपनी डाइट पर भी ध्यान रखना जरूरी है।
नमक वाले पानी में व्याप्त मिनरल्स इतने गुणवान हैं कि ये स्किन पर आने वाली झुर्रियों को रोकने में सहायक है। यही नहीं स्किन के दाग- धब्बे भी धीरे- धीरे कम होते जाते हैं।
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मौसम ठंडा हो या गरम, शरीर पर कई बार खुजली हो ही जाती है। यह खुजली शरीर पर लाल चकत्ते जैसे निशान का कारण भी बनती है। ऐसी स्थिति में नमक वाले पानी में नहाने से खुजली दूर हो जाती है।
आज हर दूसरा व्यक्ति एसिडिटी से परेशान है। इसे दूरी पाने के लिए लोग कई तरह की दवाइयों का सेवन तक करते हैं। जबकि इसका प्राकृतिक इलाज नमक वाले पानी के स्नान में छिपा है। अपनी क्षारीय प्रवृत्ति के कारण नमक का पानी अम्ल की मात्रा को कम करने में सहायक साबित हुआ है।
नमक युक्त पानी का स्नान केवल शरीर के लिए ही नहीं, मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी बढ़िया है। इस पानी से नहाने के बाद आपको शांति और रिलैक्सेशन महसूस होगा। इसलिए नमक युक्त पानी से स्नान को तनाव दूर करने वाला भी बताया गया है। एप्सम और समुद्री नमक (sea salt in hindi) से स्नान के कई रिलैक्सेशन थेरेप्यूटिक लाभ हैं।
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जब हमारे शरीर को जरूरी मिनरल्स नहीं मिलते हैं तो थकान आनी शुरू हो जाती है। हमारे तनाव के प्रबंधन में मैग्नीशियम का बड़ी भूमिका रहती है। लेकिन दुखद यह है कि करीब 57 फीसद वयस्क अपनी जरूरत के लायक मैग्नीशियम इनटेक नहीं लेते हैं। यह डेफिशियंसी कम एनर्जी का कारण बनता है। ऐसे में पानी में नमक डालकर नहाने के फायदे (namak ke pani se nahane ke fayde) का लाभ उठाएं। यह आपके शरीर के सेल्स में एनर्जी रीस्टोर करता है और आप रीवाइटेलाइज्ड महसूस करते हैं।
नमक युक्त पानी से नहाने से शरीर को आराम मिलता है, दर्द दूर होता है और थकान एवं तनाव भी दूर भाग जाता है। इसके बाद शरीर के साथ दिमाग को भी शांति का अहसास होता है और नींद अच्छी आती है। जब आप नमक वाले गुनगुने पानी से नहाते हैं तो शरीर का तापमान बदलता है, जो अच्छी नींद लाने में सहायक है। साथ ही नमक और पानी का सही संतुलन रात में पेशाब जाने की क्षमता को कम करता है, जिससे भी नींद टूटती नहीं है। यदि इस पानी में आप लैवेंडर या कैमोमाइल ऑयल मिला दें तो बेहतर नींद आने से कोई नहीं रोक सकता।
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यदि आपकी मांसपेशियों में अकसर दर्द और ऐंठन रहती है तो आप आज से ही नमक के पानी से नहाना (bath salt in hindi) शुरू कर दें। इससे मांसपेशियां मुलायम होने के साथ ही रिलैक्स भी होती हैं। साथ ही नमक के पानी से नहाने से शरीर की बदबू भी दूर होती है। किसी सर्जरी या चोट के बाद भी नमक युक्त पानी का स्नान शरीर को तेजी से ठीक होने में मदद करता है। गुनगुने पानी में मैग्नीशियम युक्त नमक मिलाकर नहाने से मसल स्पैस्म्स और पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द से भी काफी राहत मिलती है। दिन भर की थकान के बाद होने वाले शारीरिक दर्द से भी यह छुटकारा दिलाता है।
जिस तरह नमक युक्त पानी का स्नान मांसपेशियों से दर्द को गायब करता है, ठीक उसी तरह से यह हड्डियों के दर्द में भी लाभ पहुंचाता है। ऑस्टियाआर्थराइटिस और टेंडीनिटिस जैसे जोड़ों के दर्द में नमक पानी का स्नान जादू की तरह काम करता है। लोअर बैक पेन से राहत दिलाने में गुनगुने नमक वाले पानी से स्नान को बेहद प्रभावशाली माना जाता है।
आपको यह जानकर जरूर आश्चर्य होगा लेकिन सच तो यह है बुखार और सदी- खांसी में नमक वाले गुनगुने पानी का स्नान बहुत राहत पहुंचाता है। तेज बुखार की स्थिति में गुनगुने पानी में दो चम्मच नमक और एक- दो चम्मच नारियल तेल डालकर नहा लें। इससे बुखार भी उतरेगा और सदी- खांसी से भी राहत मिलेगी। चाहें तो इस पानी में यूकेलिप्टस ऑयल मिला सकती हैं, जो रिस्पिरेटरी सिस्टम को खोलने में बेहतरीन तरीके से काम करता है।
नियमित तौर पर नमक युक्त पानी से नहाने से हम खुद को उन मिनरल्स के लिए एक्सपोज करते हैं, जो हमें बीमारी से दूर रखने में मदद करते हैं। शारीरिक गतिविधि की तरह ही नमक वाला पानी एंटी- इंफ्लेमेटरी होता है, जो हमारे शरीर को ताकत प्रदान करता है कि वह बीमारियों को दूर रखे। नमक वाले पानी में मौजूद एंटी बैक्टीरियल गुण खतरनाक माइक्रोब्स को भी दूर करते हैं।
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नकारात्मक ऊर्जा को दूर करने के लिए नमक बहुत ही फायदेमंद चीज़ है। जब भी आपको महसूस हो कि आप नकारात्मक महसूस कर रहे हैं तो आप सॉल्ट वॉटर थेरेपी का प्रयोग करके पॉजिटिव महसूस कर सकते हैं। यह तुरंत काम करता है और परिणाम भी तुरंत सामने आता है। नमक वाले पानी में यह गुण होता है कि यह तुरंत ही नकारात्मक ऊर्जा को अवशोषित कर लेता है। नमक वाले पानी से स्नान आपके ऑरा से निगेटिव एनर्जी को दूर करता है। जब भी आपको लगे कि आप किसी नकारात्मक स्थान आ गए या फिर नकारात्मक लोगों के समीप हैं तो घर आकर सबसे पहले नमक वाले पानी से स्नान करें।
आप रोजाना अपने घर में फिनायल डालकर पोंछा लगवाती हैं। अगली बार पानी में समुद्री नमक डालकर पोंछा लगवाएं। यह आपके घर से नकारात्मक ऊर्जा को दूर करता है और घर में सकारात्मक ऊर्जा का स्वागत करता है। आप स्वयं इस अंतर को महसूस कर सकती हैं। चाहें तो घर से निगेटिव एनर्जी को दूर करने के लिए कमरे के कोनों में नमक युक्त पानी को कटोरे में डालकर कुछ घंटों के लिए रखें। इसके बाद पानी को वॉश बेसिन में फेंक दें।
नमक युक्त पानी से नहाने से व्यक्ति को रिलैक्स जरूर महसूस होता है और नमक के पानी से नहाना (bath salt in hindi) पूरी तरह से सुरक्षित भी है, लेकिन यदि आपको दिल का रोग या डायबिटीज़ है तो बेहतर होगा कि आप अपने डॉक्टर से इस बारे में बात कर लें। इसके अलावा अपने बालों को कभी भी नमक वाले पानी से नहीं धोना चाहिए। इससे बाल रूखे और कमजोर हो जाते हैं।
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