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#MyStory: वो मेरा ‘सब कुछ’ नहीं था, लेकिन मेरे लिए बहुत कुछ था..

#MyStory: वो मेरा ‘सब कुछ’ नहीं था, लेकिन मेरे लिए बहुत कुछ था..

मैं बस 12वीं क्लास में आई ही थी। गर्मियों की छुट्टियां शुरू होने वाली थी। एक दोस्त ने हम दोनों को introduce करवाया। हम दोनों एक ही स्कूल में पढ़ते थे इसलिए एक दूसरे को जानते तो थे लेकिन हमने कभी बात नहीं की थी। हमारा वो introduction बहुत अजीब था। हमारे सारे दोस्त एक दूसरे को डेट कर रहे थे और हम दोनों ही थे जो किसी को डेट नहीं कर रहे थे। शायद इसीलिए हमारे दोस्तों ने formal तरीके से हम दोनों को मिलवाया। और इसी वजह से हम दोनों ही इस मुलाकात के वक्त बहुत nervous थे…और मुझे तो बहुत शर्म भी आ रही थी। हमारे दोस्त भी हम दोनों को बहुत छेड़ रहे थे। इससे पहले कि मैं खुद को संभाल पाती हमारे सारे दोस्त हम दोनों को अकेला छोड़कर चले गए। मुझे समझ नहीं आ रहा था कि मैं क्या कहूं। मैं पहले ही नर्वस थी और अब मेरे पास कहने को भी कुछ नहीं था। मैं उसकी तरफ देख भी नहीं पा रही थी। मैं लगातार सिर्फ अपने पैरों..अपने काले फुटवियर की तरफ देख रही थी जिन पर अब थोड़ी धूल चढ़ गई थी। लेकिन मुझे पता लग रहा था कि वो लगातार मुझे ही देख रहा है। “Hi!” उसने कहा। मैंने बिना उसकी तरफ देखे ही उसके hi का जवाब hi से दे दिया। “मुझे लगता है मैं तुमसे प्यार करता हूं।,” उसने कहा…और उसके ये कहते ही मैंने चौंककर उसकी तरफ देखा!! मैं दो मिनट तक बिना कुछ बोले उसकी तरफ देखती रही और फिर अचानक मेरी जोर से हंसी छूट गई! क्या वो जानता भी है कि प्यार का मतलब क्या होता है? मैंने सोचा। उसने कभी मुझसे बात तक नहीं की, वो मुझे जानता तक नहीं और… “That’s very funny,” मैंने कहा। “मैं सच कह रहा हूं, तुम हंस क्यों रही हो?” उसने हैरान होकर मुझसे पूछा। “Okay, कैसा रहे अगर हम दोस्ती से इसकी शुरूआत करें!” मैंने कहा। “नहीं, मैं तुम्हें डेट पर बाहर ले जाना चाहता हूं।” Wow, ये लड़का तो पूरा फैसला करके आया है। मुझे फिर से हंसी आ गई लेकिन फिर मैं मान गई। मेरी हां सुनकर उसके चेहरे पर जो मुस्कान आई वो मुझे आज भी याद है। वो शायद अब तक की सबसे खूबसूरत मुस्कान थी जो मैंने किसी के चेहरे पर देखी थी…वो भी मेरी वजह से! not-the-one-1 स्कूल में गर्मियों की छुट्टियां शुरू होने में तीन दिन बचे थे। हम हर दिन मिले। उससे मिलते हुए सिर्फ 4 ही दिन हुए थे लेकिन मुझे लगने लगा था कि मैं उसे जिंदगी भर से जानती हूं। हम दोनों एक दूसरे के साथ बहुत जल्दी घुलमिल गए थे। हम दोनों के बीच कोई बनावट कोई दिखावा नहीं था…हम दोनों जैसे थे वैसे ही एक दूसरे के सामने थे। मुझे लगने लगा था कि इस लड़के से मैं पहले क्यों नहीं मिली? ये एक ऐसी दोस्ती की शुरूआत थी जो जिंदगी भर चलने वाली थी। स्कूल बंद हो गए और सब छुट्टियों में बाहर चले गए। हम दोनों एक दूसरे को अपना अपना नंबर दिया। मैं अभी घर पहुंची भी नहीं थी कि उसका कॉल आ गया। वो बस चेक कर रहा था कि उसके पास मेरा सही नंबर है या नहीं। हम दोनों ही छुट्टियों में बहुत busy थे लेकिन इसके बावजूद एक भी ऐसा दिन नहीं गया जब हमने एक दूसरे से बात न की हो। हम दोनों के पास बात करने के लिए इतना कुछ था। हम दोनों ही कम बोलने वाले थे इसलिए हम दोनों ही इस बात पर हैरान होते थे कि हम दोनों एक दूसरे से कई कई घंटों कैसे बात कर लेते हैं। हम बात करते हुए कभी बोर नहीं होते थे। हर चीज पर बात करते थे। अपने सपनों के बारे में, अपने पैशन के बारे में, अपने डर और जिंदगी…सबके बारे में। स्कूल खुलते ही हम दोनों ने एक दूसरे को डेट करना शुरू किया..अपने बाकी दोस्तों की तरह। हम दोनों की रिलेशनशिप grow कर रही थी..हम एक दूसरे से बहुत प्यार करते थे। स्कूल खत्म हो गया लेकिन हमारा रिलेशनशिप नहीं…हम कालेज के लिए अलग अलग शहरों में गए लेकिन ये दूरी भी हमारे प्यार को कम नहीं कर पाई। हम रोज एक दूसरे से बात करते थे और जब भी मौका मिलता एक दूसरे से मिलने उसके पास चले जाते थे। वो हर बात में मेरी मदद करता था, हर कदम पर मुझे गाइड करता था। हम दोनों एक ही उम्र के थे लेकिन वो हर बात में मुझसे कहीं ज्यादा समझदार था। मैं अगर कोई काम करने से डरती थी तो वो मेरा डर दूर करता था, मुझे मेरे सपने पाने के लिए encourage करता था, उसे मुझ पर पूरा भरोसा था..जो शायद मुझे भी खुद पर नहीं था। उससे सीखने के लिए इतना कुछ था। मैंने उसके जैसे इंसान से पहले कभी नहीं मिली थी। सब कुछ अच्छा चल रहा था और वो बहुत ही अच्छा था लेकिन…मुझे हमेशा लगता था कि इस रिलेशनशिप में कुछ कमी है। मैं उसे बहुत प्यार करती थी लेकिन हमारे प्यार में उस रोमांस की बहुत कमी थी। मुझे हमेशा ये लगता था कि हमारा रिश्ता और बेहतर हो सकता था…कैसे पता नहीं..पर हमारे इस रिश्ते में उस spark की कमी थी। ऐसा नहीं था हमारे बीच अच्छी कैमिस्ट्री नहीं थी या हम दोनों की feelings एक दूसरे के लिए बहुत गहरी नहीं थी लेकिन फिर भी मुझे उसके साथ रहने के लिए एक spark चाहिए था…जो मुझे बिल्कुल फील नहीं होता था। मैंने बहुत कोशिश की लेकिन मुझे लगता है कि ये feel जबरदस्ती नहीं लाई जा सकती। ये तो किसी रिश्ते में या तो होती है या नहीं होती। इसे पाया नहीं जा सकता। Not-the-one-2 मुझे समझ नहीं आ रहा था कि ये बात मैं उससे कैसे कहूं। आप जिससे इतना प्यार करते हैं उसे कैसे कह दें कि ये रिलेशनशिप बस यहीं तक थी? मैं उससे क्या कहूंगी कि क्यों? क्या वो समझेगा? ये उसकी गलती नहीं थी..शायद मेरी भी नहीं थी। रिलेशनशिप में किसी के लिए जैसा फील करना चाहिए मैं बस उस तरह फील नहीं कर पा रही थी। उसके लिए मेरा प्यार platonic था। वो मुझसे हमेशा कहता था कि वो सिर्फ मेरा दोस्त नहीं बना रह सकता। मैं ऐसे लड़के का दिल कैसे तोड़ सकती थी जो पहली मुलाकात से मुझसे प्यार करता था। मैं अपने बेस्ट फ्रेंड के बिना कैसे रहूंगी- बल्कि वो मेरा soulmate था- मैं कोशिश कर रही थी कि उसके बारे में न सोचूं मगर….। वो एक ऐसी लड़की के साथ होना deserve करता था जो उसे उसी तरह प्यार करे जिस तरह वो मुझे करता था। बिना किसी दिखावट और धोखे के…जिस तरह परियों की कहानी में लोग करते हैं। वो सर्दियों की एक शाम थी जब मैंने अपनी सारी हिम्मत जुटाकर उसे फोन किया। मुझे पता था कि अगले तीन महीने तक हम एक दूसरे से नहीं मिलने वाले हैं इसलिए यह मौका सही था उसे बताने के लिए। उसने फोन किया और हमेशा की तरह अपनी उसी हंसी के साथ मुझे हैलो कहा। मुझे अपना रोना रोकने के लिए पूरी कोशिश करनी पड़ी…लेकिन मैंने बिना बात को घुमाए फिराए सीधे बोल दिया कि हम एक साथ नहीं रह सकते। मैंने कहा कि मैं उसे अपनी जिंदगी में चाहती हूं लेकिन एक boyfriend की तरह नहीं। मैं शायद बहुत selfish हो रही थी लेकिन मेरे लिए ये सोचना भी मुश्किल था कि अब वो मेरे आसपास नहीं रहेगा। मैं बोलती रही..वो कुछ नहीं बोला। मैं कुछ देर तक उससे कुछ कहने को बोलती रही लेकिन उसने एक शब्द नहीं कहा और कुछ देर बाद फोन रख दिया। मैंने उसे दुबारा कॉल नहीं किया…मुझे पता था वो बहुत hurt हुआ है। not-the-one-3 उसके बाद मैं हर दिन उम्मीद करती रही कि वो शायद मुझे कॉल करे। ये उम्मीद शायद मुझे आज भी है। उस बात को दो साल हो चुके हैं और मैं आज भी अपने उस बेस्ट फ्रेंड को बहुत मिस करती हूं। लेकिन किसी ऐसे इंसान के साथ रिलेशनशिप में रहना ठीक नहीं होता जो आपके लिए इतना सीरियस हो और आप उसके लिए उतने सीरियस नहीं हो। शायद वो मेरे लिए नहीं था लेकिन मेरी जिंदगी पर उसका बहुत ही गहरा असर हुआ था। मुझे आज भी याद आता है वो दिन जब हम दोनों सिर्फ 18 साल के थे। मुझे मेरे पसंद के कालेज में एडमिशन मिल गया था लेकिन मैं उससे दूर नहीं जाना चाहती थी। वो भी मुझसे दूर नहीं होना चाहता था लेकिन उसने मुझे जाने के लिए कहा क्योंकि वो जानता था कि मेरे फ्यूचर के लिए यही अच्छा है। मैं आज जो कुछ भी हूं उसमें उसका बहुत बड़ा हाथ है। वो मेरे लिए वो खास नहीं था लेकिन वो जो भी था मेरे लिए स्पेशल था। Images: shutterstock यह भी पढ़ें: #MyStory: मेरा वो One Night Stand कुछ इस तरह था… यह भी पढ़ें: #MyStory: और हम Lovers से फिर अजनबी बन गए…

05 May 2016

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