भारतीय सिनेमा आज बहुत बदल चुका है। यहां एक साथ कई तरह की फ़िल्में रिलीज होती हैं। इनमें से कुछ कॉमेडी होती हैं तो कुछ एक्शन, रोमांस होती हैं तो कुछ थ्रिलर व हॉरर। वहीं कुछ फ़िल्में तो इतनी बोल्ड होती हैं कि उन्हें परिवार व बच्चों के साथ बैठकर देखा ही नहीं जा सकता। ऐसे में क्या यह बहुत अच्छा नहीं होगा कि आपका बच्चा एक अच्छी फिल्म का आनंद ले सके और समय-समय पर उससे सीख सके? हम बात करें हैं बच्चों की फिल्म (bacho ki film) की। जिन्हें सिर्फ बच्चों को ध्यान में रखते हुए और बच्चों को केंद्रित करते हुए बनाया गया है। हमने बॉलीवुड की कुछ फिल्मों को शॉर्टलिस्ट किया है जो न केवल आपके नन्हे-मुन्नों का मनोरंजन करेंगी बल्कि उन्हें बहुत कुछ सीखने पर प्रेरित भी करेंगी। ये छोटे बच्चों की फिल्में शायद आपके बच्चों के लिए इतनी बुरी न हों।
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बच्चों की फिल्में हिंदी में – Bacho ki Film in Hindi
कोरोना नाम की महामारी ने बच्चों का स्कूल जाना लगभग बंद कर दिया है। यहां तक कि उनकी पढ़ाई भी अब ऑनलाइन हो गई है। इसलिए अधिकांश बच्चे घर पर अधिक से अधिक समय बिता रहे हैं। ऐसे में अपने बच्चे को स्मार्टफोन के साथ ज्यादा समय बिताने से रोकना लगभग असंभव हो चुका है। आखिर सच तो यही है कि बच्चों का मोबाइल स्क्रीन टाइम कम से कम होना चाहिए। मगर अब के समय को देखते हुए यह ज्यादा संभव भी नहीं है। ऐसे में क्यों न बच्चों को कुछ ऐसी फ़िल्में दिखाई जाएं तो उनका मनोरंजन करने के साथ उन्हें बहुत कुछ सिखाये भी। हम यहां ऐसी ही कुछ बच्चों की फिल्म (bacho ki film) लेकर आये हैं।
1- तारे जमीं पर
आठ साल का ईशान, जो कला में उत्कृष्ट है, लेकिन पढ़ाई में उतना ही ख़राब प्रदर्शन करता है, अपने माता-पिता की लगातार शिकायतों से परेशान है। ईशान के एक शिक्षक उसे डिस्लेक्सिया डायग्नाॅस करते हैं और फिर शुरू होता है इस बीमारी से लड़ने का संघर्ष, जिसमें वही शिक्षक उसकी मदद करते हैं। माता-पिता को डिस्लेक्सिया और अन्य कम ज्ञात समस्याओं के बारे में शिक्षित करने के साथ, तारे ज़मीन पर एक मनोरंजक और प्रेरणादायक फिल्म है।
2- स्टेनली का डब्बा
एक स्कूल शिक्षक ने स्टेनली को तब तक स्कूल में प्रवेश करने से मना किया जब तक कि वह अपना खुद का टिफिन बॉक्स नहीं लाता और जैसा कि दूसरे बच्चे व शिक्षक इस बात से अनजान हैं कि वह एक अनाथ है। स्टेनली की कहानी एक प्रेरणादायक अंत के साथ एक दिल दहला देने वाली कहानी है।
3- मकड़ी
जुड़वां बहनें चुन्नी और मुन्नी गांव की डायन के जाल में फंस गई हैं। दुष्ट चुड़ैल लड़कियों से अपनी जान बचाने के लिए कुछ कठिन काम करने की मांग करती है। लड़कियां कैसे जाल से बाहर निकलती हैं यह एक मजेदार और साहसिक कहानी है। निश्चित रूप से बच्चों के लिए एक अच्छी फिल्म।
4- कोई मिल गया/कृष सीरीज़
फिल्म एक मानसिक रूप से विकलांग लड़के के जीवन के इर्द-गिर्द घूमती है, जिसे उसके एलियन दोस्त द्वारा सुपर पावर का उपहार दिया जाता है। फिल्म के पहले भाग का नाम था ‘कोई मिल गया’ और यह बॉक्स ऑफिस पर सफल रही थी। वहीं कृष और कृष 3 में लोगों ने केंद्रीय चरित्र को एक सुपरहीरो के रूप में देखा। महाशक्तियों और महानायकों की यह काल्पनिक कहानी छोटे बच्चों में उम्मीद जगाती है।
5- राजू चाचा
अपने धनी पिता की मृत्यु के बाद, तीन बच्चों को उनके लालची रिश्तेदारों की देखभाल के लिए छोड़ दिया जाता है। एक आदमी अपने मृत पिता के लंबे समय से अलग भाई होने का दिखावा करता है, तीन बच्चों की कस्टडी की मांग करता है। उसका राज खुलने के बाद वही बच्चों को फिल्म के विलेन से भी बचाता है।
बच्चों की कार्टून फिल्में – Bacho ki Cartoon Film in Hindi
कार्टून फ़िल्में हमेशा से ही बच्चों की पसंदीदा रही है। जो बात बच्चे नॉर्मल सिनेमा से नहीं सीख पाते, कई बार वहीं बातें कार्टून फ़िल्में सिखा देती हैं। इतना ही नहीं कार्टून फ़िल्में मनोरंजन से भरपूर भी होती हैं। इसी लिस्ट में हम आपके लिए लेकर आये हैं कुछ बेहतरीन बच्चों की कार्टून फिल्में (bacho ki cartoon film)।
द जंगल बुक
बात अगर बच्चों की कार्टून फिल्में (bacho ki cartoon film) की हो तो भला मोगली को कोई कैसे भूल सकता है। एक और क्लासिक जिसे याद नहीं किया जा सकता है वह है जंगल में मोगली और उसके दोस्तों की कहानी। मध्य प्रदेश के घने जंगलों में स्थापित यह एनिमेशन फिल्म एक शानदार कहानी और प्यारे पात्रों के साथ ढेर सारे सस्पेंस को जोड़ती है।
हनुमान
यह एनीमेशन फिल्म भगवान हनुमान के जन्म से लेकर रावण की लंका से देवी सीता को बचाने के लिए उनके जीवन का पता लगाती है। यह एक एक्शन से भरपूर फिल्म है जो बच्चों को पौराणिक चरित्रों से परिचित कराएगी और उन्हें नैतिकता भी सिखाएगी।
छोटा भीम और कृष्णा
किरमदा द्वारा राजा के अपहरण के बाद छोटा भीम अपने गांव के लोगों को बचाने के लिए कृष्ण नाम के एक चरवाहे की मदद लेता है। इस कार्टून फिल्म में बच्चों को एक साथ दो सुपर पावर वाले कैरेक्टर देखने को मिलेंगे। पहले श्री कृष्णा और दूसरा छोटा भीम। ये दोनों ही बच्चों के पसंदीदा हीरो में से हैं।
माय फ्रेंड गणेशा
फिल्म का केंद्रीय पात्र आशु एक अकेला बच्चा है जिसके माता-पिता उस पर ध्यान नहीं देते। एक दिन जब वह एक चूहे को डूबने से बचाता है, तो उसकी नौकरानी उसे बताती है कि चूहे को भगवान गणेश की पालतू सवारी माना जाता है। कुछ दिनों बाद, गणेश पूजा के दौरान, भगवान गणेश आशु से मिलने जाते हैं। फिल्म बेहद रोचक है और बच्चों को अपनी जगह से हिलने भी नहीं देती।
बच्चों की कॉमेडी फिल्म – Bacho ki comedy Movie in Hindi
ज़िंदगी हंसने-हंसाने का नाम है। आजकल के बच्चे सोशल मीडिया की दुनिया में इतना घुस गए हैं कि हंसना-खेलना तो जैसे भूल ही गए हैं। उनके लिए एक स्माइल से ज्यादा जरूरी अपनी फोटो पर लाइक्स की गिनती हो चुकी है। बच्चों को इस दुनिया से थोड़ी देर के लिए आज़ाद करने के इरादे से हम यहां कुछ बच्चों की कॉमेडी फिल्म (bacho ki comedy movie) लेकर आये हैं।
1- जजंतरम ममंतरम
गुलिवर्स ट्रेवल्स से प्रेरित इस फिल्म में जावेद जाफरी ने मुंबई के एक नाविक की भूमिका निभाई है जो छोटे लोगों से घिरे एक सुदूर द्वीप पर फंसा हुआ है। फिल्म कुछ बेहतरीन ग्राफिक्स और नाविक व खलनायक चामुंडा के बीच लड़े गए एक दिलचस्प युद्ध को भी दिखाती है। एक बेहतरीन एंटरटेनर, यह आपके बच्चों को दोस्ती, एहसान और अटूट प्यार के बारे में सिखाएगा।
2- मिस्टर इंडिया
भारत की पहली सुपरहीरो फिल्म जिसने वीर मिस्टर इंडिया और सुपर विलेन मोगैम्बो को पेश किया, वह अनिल कपूर अभिनीत एक क्लासिक फिल्म है। अनाथ बच्चों और उनके देखभाल करने वाले ने कठिन समय को एक साथ कैसे पार किया, फिल्म की कहानी इसी के इर्द-गिर्द घूमती है। यह एक मज़ेदार फिल्म है, जो आज भी बच्चों को काफी पसंद आती है।
3- भूतनाथ
फिल्म का मेन कैरेक्टर बंकू अपने माता-पिता के साथ गोवा में एक हवेली में शिफ्ट हो जाता है। यहां उसे अपने नए घर में भूतनाथ नामक एक अमित्र भूत का पता चलता है। समय के साथ, भूतनाथ बांकू को डराने की कोशिश करना छोड़ देता है, और वे अच्छे दोस्त बन जाते हैं। फिल्म कॉमेडी से भरपूर होने के साथ आखिर में इमोशनल भी कर देती है।
4- वाह लाइफ हो तो ऐसी
आदित्य नाम का एक युवक एक बड़े परिवार के लिए अकेला कमाने वाला है, लेकिन उसकी असमय मौत हो जाती है। बहुत मिन्नत करने के बाद, यमराज उसे अधूरे काम की देखभाल के लिए सात दिनों के लिए धरती पर लौटने की अनुमति देते हैं। इस दौरान ऐसी कई घटनाएं होती हैं, जो कॉमेडी से भरपूर हैं।
अगर आपको यहां दी गई बच्चों की फिल्म (bacho ki film) पसंद आई तो इन्हें अपने घर के बच्चों के साथ शेयर करना न भूलें।