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वेजाइनल इंफेक्शन (vaginal infection) के घरेलू नुस्खे- Home Remedies of Yeast Infection

Neelam Kothari  |  Aug 21, 2019
वेजाइनल इंफेक्शन (vaginal infection) के घरेलू नुस्खे- Home Remedies of Yeast Infection

वेजाइनल इंफेक्शन (vaginal infection) को खमीर संक्रमण भी कहते हैं। खमीर एक तरह का फंगस होता है जो काफी कम मात्रा में वैजाइना में पाया जाता है। अगर आपकी वैजाइना में खमीर की मात्रा में अत्यधिक वृद्धि हो जाए तो उससे संक्रमण हो सकता है। वैजाइना में खुजली इसके सबसे सामान्य लक्षणों में से एक है। अन्य लक्षणों में मूत्र विसर्जन या यौन क्रिया के समय दर्द और जलन, योनि में सूजन, पेशाब में जलन आदि शामिल हैं। यह संक्रमण कोई बीमारी नहीं है लेकिन यह समस्या उन महिलाओं में अधिक होती है जो सेक्स में अक्सर सक्रिय रहती हैं। किसी भी रूप में एंटीबायोटिक के सेवन से यीस्ट संक्रमण की आशंका बढ़ जाती है। लेकिन प्रोबायोटिक पूरक लेना या प्रोबायोटिक खाद्य पदार्थों को खाने से प्राकृतिक आंत वनस्पति को बनाये रखने में मदद मिलती है और यह कैंडिडा जैसे फंगस पर प्रतिबंध लगाता है। एंटीबायोटिक टेट्रासाइक्लिन शरीर में यीस्ट जीवों के विकास के लिए विशेष रूप से जिम्मेदार होता है। अक्सर आपने देखा होगा कि बुखार या फिर किसी और उपचार के दौरान अचानक आपकी वैजाइना लाल हो जाती है और इचिंग होने लगती है। वह इसी कारण होता है। इसके अन्य कारण हैं – गर्भावस्था के दौरान एस्ट्रोजन का स्तर, हॉर्मोन में बदलाव, मधुमेह।

क्या है और कैसे होता वैजाइनल इन्फेक्शन – What Is Vaginal Infection ?

ज्यादातर वैजाइनल इन्फेक्शन का कारण कैंडिडा एल्बीकैंस (candida albicans – एक प्रकार का कवक) है। मुंह, गले या वैजाइना में पाया जाने वाला यह फंगस तेजी से बढ़ते हुए वैजाइना के ऊतकों को नुकसान पहुंचाता है। योनि में यीस्ट इन्फेक्शन होने पर महिलाओं को खुजली, जलन और वैजाइना में दर्द महसूस होने लगता है। हालांकि कई बार महिला जननांग में नम वातावरण के कारण भी इस फंगस को बढ़ने का मौका मिल जाता है। वैसे तो पुरुषों को भी इसका अनुभव हो सकता है लेकिन यह समस्या महिलाओं में ज्यादा आम है। इस संक्रमण से ग्रस्त महिलाओं की वैजाइना पर सफेद रंग के निशान पड़ जाते हैं और वहां से होने वाले डिस्चार्ज से बदबू आती है। वैजाइना में बैक्टीरियल संक्रमण के शुरुआती स्तर पर घरेलू नुस्खों की मदद से इसे ठीक किया जा सकता है लेकिन स्थिति गंभीर होने पर तुरंत चिकित्सक या स्त्री रोग विशेषज्ञ से परामर्श करना चाहिए। किसी भी घरेलू नुस्खे का प्रयोग करने से पहले ये सुनिश्चित कर लें कि आपको फंगल संक्रमण ही हुआ है। अगर आपको वेजाइनल इंफेक्शन (vaginal infection) के लक्षण दिखाई दे रहे हैं तो देरी न करें और फौरन उसका उपचार करें। 

वैजाइनल इन्फेक्शन के प्रकार – Vaginal Infections Types

1- वैजाइनल यीस्ट इन्फेक्शन – Vaginal Yeast Infection
यह सबसे आम प्रकार का वैजाइनल इन्फेक्शन है। यीस्ट संक्रमण कैंडिडा नामक फंगस प्रजाति के कारण होता है। हालांकि जब इनकी संख्या में असामान्य रूप से वृद्धि होने लगती है तो ये वैजाइना में संक्रमण का कारण बनते हैं। इस फंगस का नाम कैंडिडा एल्बीकैंस होता है जो योनि में संक्रमण उत्पन्न कर सकता है। कैंडिडा आपकी वैजाइना में कम संख्या में प्राकृतिक रूप से मौजूद रहते हैं जो आमतौर पर नुकसानदायक नहीं होते।
2- बैक्टीरियल वेजिनोसिस – Bacterial Vaginosis
यीस्ट के साथ ही लैक्टोबेसिलस बैक्टीरिया भी योनि में मौजूद रहते हैं। जब इनकी संख्या बहुत कम हो जाती है तो ये बैक्टीरियल वेजिनोसिस का कारण बनते हैं।

वैजाइनल इन्फेक्शन को ठीक करने के घरेलू नुस्खे – Home Remedies for Vaginal Infection in Hindi

घरेलू उपायों की मदद से योनि में इन्फेक्शन को ठीक किया जा सकता है। यहां हम आपको कुछ ऐसे ही नुस्खे शेयर कर रहे हैं, जिसके इस्तेमाल से योनि में दर्द, खुजली, जलन और स्मेली डिस्चार्ज आदि समस्याओं को कम किया जा सकता है।

सेब का सिरका – Apple Vinegar

योनि को सेब साइडर सिरके से धोने से वैजाइनल इन्फेक्शन से होने वाली इचिंग और रेडनेस को कम करने में मदद मिलती है। इसके लिए लगभग एक लीटर पानी में 3 बड़े चम्मच कार्बोनिक सेब साइडर सिरका मिला कर वैजाइना को धोएं। यह आपको किसी भी स्टोर में आसानी से मिल जाएगा।

टी ट्री ऑयल – Tea Tree Oil

टी ट्री तेल में शक्तिशाली और प्रभावी प्राकृतिक एंटी फंगल गुण होते हैं जो वैजाइनल संक्रमण के घरेलू उपचार में मदद करते हैं। हालांकि ध्यान रखें कि गर्भवती महिलाओं को इस उपाय का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए क्योंकि टी ट्री के तेल में मौजूद कुछ गुण बच्चे के लिए हानिकारक हो सकते हैं। एक कप पानी में टी ट्री ऑयल मिलाएं। अब उसमें एक चम्मच जैतून का तेल या मीठा बादाम तेल मिलाएं। अब इस मिश्रण को योनि के प्रभावित क्षेत्रों पर लगाएं। दिन भर में कई बार इस मिश्रण का इस्तेमाल करने की कोशिश करें।

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नारियल का तेल – Coconut Oil

नारियल तेल योनि संक्रमण के लिए प्रभावी प्राकृतिक उपचारों में से एक है। इसमें प्रभावी कवकरोधी गुण होते हैं जो संक्रमण के लिए जिम्मेदार खमीर को मार सकते हैं। नारियल का तेल 25 प्रकार की कैंडिडा प्रजातियों (जो खमीर संक्रमण के लिए जिम्मेदार हैं) को मारने में प्रभावी है। नारियल तेल को प्रभावित क्षेत्र पर दिन में 2 या 3 बार लगाएं, जब तक आपको सुधार दिखना शुरू न हो जाए। आप नारियल तेल को अपने दैनिक आहार में भी शामिल कर सकती हैं। 1 चम्मच नारियल तेल को दैनिक रूप से लेना शुरू करें ताकि आपको कभी वैजाइना से संबंधित कोई परेशानी न हो और धीरे-धीरे आप इसकी खुराक में वृद्धि कर सकती हैं।

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मेथी के बीज – Fenugreek Seeds

मेथी के बीच भी वैजाइनल में होने वाले इन्फेक्शन को खत्म करते हैं। दो बड़े चम्मच मेथी के बीज को रात भर के लिए पानी में रख दें। इस मिश्रण को सुबह खाली पेट पियें। इस मिश्रण का प्रयोग रोज़ाना करें, जब तक कि आपको किसी भी प्रकार का असर न दिख जाये।

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वैजाइनल इचिंग को ठीक करने के नुस्खे – Home Remedies for Vaginal Itching in Hindi

1 – एलोवेरा में विटामिन, एंजाइम और अमीनो एसिड होते हैं जो कैंडिडा के विकास को बाधित करने में मदद करते हैं। एलोवेरा में भी एंटी-इंफ्लेमेटरी, एंटी-इरिटेटिंग और एंटीफंगल गुण होते हैं जो योनि संक्रमण के नियंत्रण और उसके इलाज में मदद करते हैं। इसे लगाने से वैजाइना में होने वाली इचिग कम होती है।
2 – ठंडे पानी से धोकर भी वैजाइना में हो रही खुजली को कम किया जा सकता है।
3 – ओरेगेनो के तेल में जीवाणुरोधी और एंटीफंगल गुण होते हैं जिनकी मदद से रोगाणुओं को खत्म किया जा सकता है। इससे भी इचिंग कम हो जाती है।
4 – वैजाइना में अगर इचिंग हो रही हो तो उसे रफ साबुन से साफ न करें।
5 – चाय में टैनिन होता है, जिसमें एंटीबायोटिक गुण होते हैं, जो जलन और सूजन को कम करने में मदद करते हैं। इसे ठंडा कर वैजाइना पर लगाने से खुजली खत्म हो जाती है।

वैजाइनल इन्फेक्शन से बचने के टिप्स – How to Prevent Vaginal Infection in Hindi

रोज करें सफाई

संक्रमण को रोकने के लिए वैजाइना को क्लीन और हेल्दी रखना बहुत जरूरी होता है। इसलिए उसे साफ रखें और उस पर साबुन न लगाएं। वैजाइना काफी सेंसिटिव होती है इसलिए अपनी वैजाइना की सॉफ्टनेस के अनुसार ही उस पर सॉफ्ट साबुन या स्पेसिफिक एंटी बैक्टीरिया लिक्विड वॉश का इस्तेमाल करें। 

तनाव से दूर रहें – Stress Free

किसी भी बीमारी या संक्रमण के बढ़ने की सबसे अहम वजह है तनाव इसलिए तनाव से बचने की कोशिश करें। शरीर को पूरा आराम नहीं मिलता है तो शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है, जिसके कारण स्वास्थ खराब हो जाता है। इसलिए अपने शरीर को आराम दें, रोजाना कम से कम 7-8 घंटे की नींद जरूर लें।

योग करें – Yoga

तनावपूर्ण जीवन शैली कैंडिडा के अधिक विकसित होने का कारण बनती है क्योंकि इस समय आपकी प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है। ध्यान, मालिश, योग और नियमित एक्सरसाइज से इसे कम किया जा सकता है।

ढीले-ढाले कपड़े – Loose Clothes

ढीले-ढाले कपड़े और अंडरवियर पहनने से ऑक्सीजन मिलती रहती है, जिससे फंगस का विकास रुकता है।

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