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प्रेगनेंसी में क्या खाना चाहिए कैसे रहना चाहिए, यहां जानें हर सवाल का जवाब

Megha Sharma  |  Feb 23, 2021
प्रेगनेंसी में क्या खाना चाहिए, प्रेगनेंसी में कौन सी सब्जी नहीं खानी चाहिए
गर्भावस्था या फिर प्रेगनेंसी किसी भी महिला के जीवन का एक बहुत ही महत्वपूर्ण हिस्सा होता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इस दौरान महिला के पेट में एक नन्ही जिंदगी पल रही होती है, जो पूरी तरह से उससे जुड़ी होती है। यही कारण है कि प्रेगनेंसी या फिर गर्भावस्था के दौरान महिला को अपना बहुत ही अधिक खयाल रखना पड़ता है और केवल अपना ही नहीं बल्कि अपने साथ-साथ अपने अंदर पलने वाली नन्ही जान को भी संभालकर रखना होता है। हालांकि, जब एक महिला प्रेगनेंट होती है तो उसके शरीर में बहुत से बदलाव भी होने लगते हैं और इस वजह से महिला को कई तरीकों से खुद को ध्यान रखना पड़ता है। फिर चाहे वो सही खान-पान हो या फिर प्रेगनेंसी में बच्चे के दिमाग को तेज करने के लिए कुछ पढ़ना हो। इसके अलावा हार्ट बीट या फिर वजन आदि बहुत सी चीजों के बारे में एक महिला को सोचना पड़ता है। ऐसे में यदि आप भी प्रेगनेंट हैं और आपके दिमाग में भी इस तरह के कुछ सवाल हैं तो यहां हम प्रेगनेंसी से जुड़े आपके सभी सवालों (Pregnancy Tips in Hindi) का जवाब लेकर आए हैं। 

प्रेगनेंसी में पेट कब निकलता है?

आपका पेट कितनी जल्दी या फिर कितने समय बाद से दिखाई देगा, इसका संबंध आपके वजन और आप पहले कितनी बार प्रेगनेंट हो चुकी हैं पर आधारित होता है। यदि आप पहली बार प्रेगनेंट हुई हैं तो आपका पेट शुरुआती तीन महीनों में दिखाई नहीं देगा। इसके बाद यदि आपका वजन कम है तो 12वे हफ्ते से आपका पेट दिखाई देना शुरू हो सकता है। वहीं यदि आपका वजन थोड़ा अधिक है तो आपका पेट 16वे हफ्ते से दिखाई दे सकता है। 
वहीं, यदि आप दूसरी बार प्रेगनेंट हुई हैं और आपका बेबी बंप थोड़ा जल्दी दिखाई देने लगे तो हैरान ना होएं। पहली गर्भावस्था के बाद दूसरी बार प्रेगनेंट होने पर आपका पेट पहली तिमाही में ही दिखाई देने लग सकता है। दरअसल, ऐसा इसलिए होता है क्योंकि जब आप पहली बार प्रेगनेंट होती हैं तो आपके पेट की मांसपेशियां पहले ही स्ट्रेच हो चुकी होती हैं और कई मामलों में ये वापस अपने ऑरिजनल साइज में नहीं आती हैं। इस वजह से दूसरी बार प्रेगनेंट होने पर आपका बेबी बंप जल्दी दिखाई देने लग सकता है।

प्रेगनेंसी में क्या खाना चाहिए?

यदि आप गर्भावस्था में हैं और अपने बच्चे को स्वस्थ रखना चाहती हैं तो आपको नीचे बताई गई चीजों का सेवन (What to Eat During Pregnancy) करना चाहिए। इन चीजों का सेवन करने से आपका बच्चा और आप दोनों ही स्वस्थ रहेंगे।

डेयरी उत्पाद

गर्भावस्था के दौरान शिशु का विकास होता है और इस वजह से एक महिला को डेयरी उत्पादों का सेवन करना चाहिए। दरअसल, शिशु के विकास के लिए प्रोटीन और कैल्शियम की जरूरत होती है और डेयरी उत्पादों में काफी अधिक मात्रा में कैल्शियम और प्रोटीन होता है। दूध, छाछ और दही आदि डेयरी उत्पाद गर्भवती महिला के लिए बहुत ही फायदेमंद होते हैं।

ब्रोकली और हरे पत्तेदार सब्जियां

गर्भवती महिलाओं को अपने खान-पान में हरी पत्तेदार सब्जियां जरूर शामिल करनी चाहिए।

सूखे मेवे

आप चाहें तो गर्भावस्था में सूखे मेवों को भी अपनी डाइट में शामिल कर सकती हैं। सूखे मेवो में काफी अधिक मात्रा में विटामिन, कैलोरी, फाइबर और ओमेगा 3 जैसे फैटी एसिड आदि पाए जाते हैं। यदि आपको एलर्जी नहीं है तो आप बादाम, अखरोट और काजू को भी अपने खान-पान में शामिल कर सकती हैं।

साबुत अनाज

गर्भावस्था की शुरुआती तिमाही में आपको अपने भोजन में साबुत अनाज को जरूर शामिल करना चाहिए। इससे पेट में पलने वाले बच्चे का सही तरीके से विकास होता है। इसके लिए आप अपने खाने में ओट्स, किनोआ और ब्राउन राइस को शामिल कर सकती हैं।

कॉड लीवर ऑयल

प्रेगनेंसी में कॉड लीवर ऑयल का सेवन करना भी बच्चे और मां दोनों के लिए फायदेमंद होता है। इस तेल को कॉड मछली के लीवर से बनाया जाता है। इसमें अधिक मात्रा में ओमेगा 3 फैटी एडिस और विटामिन ए और विटामिन डी होता है। इन्हें बच्चे के दिमाग और आंखों के विकास के लिए अच्छा माना जाता है। 

फल और जूस

गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को अलग-अलग तरह के मौसमी फलों का सेवन करना चाहिए। आप चाहें तो नाशपाती, तरबूज और संतरा आदि फलों का भी सेवन कर सकती हैं। हालांकि, इस दौरान याद रखें कि आप पैकेट वाला जूस ना पीएं बल्कि इसकी जगह आपको फ्रेश जूस पीना चाहिए।

प्रेगनेंसी में क्या नहीं खाना चाहिए?

गर्भावस्था में शुरुआत के तीन महीने सबसे अधिक कठिन होते हैं और इन तीन महीनों में महिला को सबसे अधिक ध्यान रखना चाहिए। फिर चाहे खानपान हो या फिर कोई अन्य चीज, एक महिला को अपना बहुत ही अच्छी तरह से ध्यान रखना चाहिए। तो चलिए आपको बताते हैं कि गर्भावस्था में आपको किन चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए।

कच्चा अंडा

कभी भी कच्चे अंडे का सेवन ना करें, हमेशा अंडे को अच्छी तरह से पका कर खाएं। कच्चा अंडा खाने से आपको उल्टी और दस्त आदि की समस्या हो सकती है।

शराब और धूम्रपान

वैसे तो नशीले पदार्थों का सेवन हर तरीके से हानिकारक होता है लेकिन गर्भावस्था में इनका सेवन करने से बच्चे का स्वास्थ्य भी प्रभावित होता है। इस वजह से गर्भावस्था में कभी भी शराब और धूम्रपान आदि का सेवन ना करें।

कैफीन

गर्भावस्था में आपको हमेशा कम मात्रा में ही कैफीन युक्त पदार्थ, जैसे कि चाय, कॉफी और चॉकलेट का सेवन करना चाहिए। यदि आप अधिक मात्रा में इसका सेवन करती हैं तो आपको गर्भपात का खतरा हो सकता है। इसके अलावा जन्म के समय बच्चे का वजन कम होने की भी समस्या आदि हो सकती है।

घर में बनी आइसक्रीम ना खाएं

दरअसल, आपको गर्भावस्था में घर पर बनाई जाने वाली आइसक्रीम का सेवन नहीं करना चाहिए। ऐसा इसलिए क्योंकि घर पर आइसक्रीम बनाने के लिए कच्चे अंडे का इस्तेमाल किया जाता है और हम पहले ही बता चुके हैं कि कच्चा अंडा सेहत के लिए हानिकारक होता है। 

प्रेगनेंसी के पहले महीने में क्या खाना चाहिए?

गर्भावस्था के पहले तीन महीने बहुत ही अहम होते हैं। हालांकि, कई बार आप गर्भवती हैं या नहीं यही पता करने में आपको 2 या ढाई हफ्तों का समय लग जाता है। इस वजह से आपको अपने खानपान को लेकर बहुत ही अधिक सावधान रहना चाहिए।

फोलेट युक्त पदार्थ

बच्चे के विकास के लिए आपको फोलेट युक्त पदार्थों का सेवन करना चाहिए। इससे बाद में आपके बच्चे के दिमाग और रीढ़ की हड्डी का विकास होता है। इस वजह से आपको अपने आहार में हरी पत्तेदार सब्जियां, खट्टे फल, केला आदि को शामिल करना चाहिए।

फल

आपको मौसमी फलों का सेवन करना चाहिए। हालांकि, ध्यान रखें कि इस दौरान आप कच्चे पपीते का सेवन ना करें क्योंकि पपीते का सेवन करने से आपको परेशानी हो सकती है, या फिर बच्चा गिर सकता है। इसके अतिरिक्त आप अन्य फलों का सेवन कर सकती हैं।

सब्जियां

हर तरह की सब्जियां खाएं क्योंकि सभी सब्जियों में अलग-अलग पोषक तत्व होते हैं, जो बच्चे के विकास के लिए बहुत ही लाभकारी होते हैं।

मछली

यदि आप मांसाहारी हैं तो आपको अपनी डाइट में मछली को शामिल करना चाहिए। मछली में कई प्रकार के पोषक तत्व होते हैं, जो आपके बच्चे के विकास के लिए बहुत अधिक लाभकारी होते हैं। 

प्रेगनेंसी में कैसे बैठना चाहिए?

जानकारों की मानें तो प्रेगनेंसी की शुरुआत से लेकर नौंवे महीने तक आते-आते महिला को बैठने (How to Sit in Pregnancy) और लेटने में परेशानी होने लगती है और इस वजह से उनका अपने बैठने और लेटने की पॉजिशन का ध्यान रखना बहुत ही जरूरी होता है। 
यदि आप पहली तिमाही में हैं तो आपको सामान्य दिनचर्या के दौरान कमर सीधी करके बैठना या लेटना चाहिए। इसके अलावा आपको अधिक वजन उठाने से भी बचना चाहिए।
दूसरी और तीसरी तिमाही के दौरान प्रोजेस्ट्रोन हार्मोन के अधिक स्त्राव के कारण शरीर का लिगमेंट ढीला होने लगता है, जिससे आपकी मांसपेशियों में दर्द रहने लगता है। ऐसे में आपको लेटने के बाद कर्वट लेकर उठना चाहिए और अगर आप बैठी हुई हैं तो हाथों का सपोर्ट लेकर उठना चाहिए। इस दौरान बिना सहारे के ना बैठें और जैसे जैसे आपका पेट बढ़ने लगता है वैसे वैसे आपकी रीढ़ की हड्डी के निचले हिस्से में मुड़ाव आने लगता है, इस वजह से आपको कमर दर्द की समस्या भी हो सकती है।

प्रेगनेंसी में कौन सा फ्रूट नहीं खाना चाहिए?

जैसा कि हमने आपको ऊपर बताया है, प्रेगनेंसी में खान-पान का ध्यान रखना बहुत अधिक आवश्यक होता है। इस वजह से कुछ चीजों का सेवन करने से आपको बचना चाहिए। तो चलिए आपको बताते हैं कि गर्भावस्था के दौरान आपको किन फलों का सेवन नहीं करना चाहिए।

अनानास

गर्भावस्था में जो महिलाएं होती हैं, उन्हें अनानास ना खाने की सलाह दी जाती है। ऐसा इसलिए क्योंकि अनानास में काफी अधिक मात्रा में ब्रोमलिन होता है, जो गर्भाश्य ग्रीव को मुलायम बना देता है और इस वजह से गर्भाशय में संकुचन पैदा होने लगता है, जिससे महिला को जल्दी प्रसव पीढ़ा होने लगती है और ये मां और बच्चे दोनों के लिए हानिकारक होता है।

पपीता

जैसा कि हमने ऊपर भी बताया है, पपीता गर्भवती महिला के लिए हानिकारक होता है। ऐसा इसलिए क्योंकि पपीते का सेवन करने से गर्भवती महिला के शरीर का तापमान बढ़ जाता है। यहां तक कि इसके सेवन से महिला में मिसकैरेज होने की संभावना बढ़ जाती है।

अंगूर

वैसे तो अंगूर बहुत ही पौष्टिक फलों में से एक है लेकिन कुछ लोगों का मानना है कि गर्भवती महिला को अंगूर का सेवन नहीं करना चाहिए। दरअसल, अंगूर में रेसवेराट्रोल नामक पदार्थ होता है, जो गर्भवती महिलाओं के लिए हानिकारक माना जाता है।

प्रेगनेंसी में क्या पढ़ना चाहिए?

यदि महिला अपनी गर्भावस्था को स्वस्थ बनाए रखना चाहती है तो जरूरी है कि वह अपनी गर्भावस्था के दौरान एक सही दिनचर्या को फॉलो करे। इसलिए उसे अपनी दिनचर्या में पढ़ाई को भी शामिल करना चाहिए। यदि गर्भवती महिला अपने दिमाग को शांत रखना चाहती है तो उसे अच्छी किताबें पढनी (What to Read in Pregnancy) चाहिए। माना जाता है कि यदि माता, प्रेगनेंसी में पढ़ती है तो बच्चे की सुनने और समझने की क्षमता बढ़ती है। 
गर्भावस्था में महिलाएं, धार्मिक किताबें जैसे कि रामायण या फिर भगवद गीता आदि पढ़ सकती हैं। जानकारों की मानें तो धार्मिक किताबें पढ़ने से बच्चा संस्कारी होता है।  
इसके अलावा महिला, बच्चों की किताबें भी पढ़ सकती हैं। जैसे कि पंचतंत्र की कहानियां आदि। इसके अलावा महिला चाहे तो गर्भावस्था के दौरान अच्छे उपन्यासों को भी पढ़ सकती है। हालांकि, इस दौरान वो ध्यान रखे कि वह डरावने या फिर तनाव देने वाले उपन्यास ना पढ़ें।

प्रेगनेंसी में खुश रहने के उपाय?

– यदि आप प्रेगनेंसी में खुश रहना चाहती हैं तो सबसे पहले सभी परेशानियों को भूल जाएं और पॉजिटिव सोचना शुरू कर दें।
– इसके अलावा अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखें और अच्छे से आराम भी करें।
– साथ ही आपको नियमित रूप से अपने बच्चे से बात करने रहना चाहिए। इससे आपको जरूर अच्छा महसूस होगा।
– अपने होने वाले बच्चे के लिए आप कहानियां भी लिख सकती हैं या फिर आपका दिन कैसे अच्छा रहा ये भी लिख सकती हैं। इससे आपको अच्छा महसूस होगा।
– यदि आपको पार्लर जाने और शॉपिंग करने में खुशी मिलती है तो आपको ऐसा जरूर करना चाहिए। 
– अपनी प्रेगनेंसी के दौरान आपको नवजात से जुड़ी किताबें भी पढ़नी चाहिए। इससे आपका समय आसानी से बिना कुछ नकारात्मक सोचे बीतेगा।
– इसके अलावा स्वस्थ रहने के लिए व्यायाम करें।

प्रेगनेंसी में कौन सी सब्जी नहीं खानी चाहिए?

प्रेगनेंसी में जिस तरह से कुछ फलों का सेवन करने से नुकसान पहुंचता है, उसी प्रकार से कुछ सब्जियां भी बच्चे और मां के लिए हानिकारक होती हैं। तो चलिए बिना कोई देरी किए आपको बताते हैं कि प्रेगनेंसी में आपको कौन सी सब्जियां नहीं खानी चाहिए।

बैंगन

प्रेगनेंसी में महिला को बैंगन नहीं खाना चाहिए। दरअसल, बैंगन शरीर में गर्मी पैदा करता है और इस वजह से गर्भवती महिला और उसके बच्चे के लिए ये काफी हानिकारक होता है।

अंकुरित अनाज

वैसे तो अंकुरित अनाज स्वास्थ्य के लिए काफी लाभकारी माना जाता है लेकिन गर्भवती महिलाओं को इसका सेवन नहीं करना चाहिए। अंकुरित अनाज में सालमोनेला, लिस्टरिया जैसे खतरनाक बैक्टीरिया पाए जाते हैं जो गर्भवती महिला और उसके बच्चे के लिए खतरनाक होते हैं।

अदरक

गर्भावस्था के शुरुआती तीन महीनों में अदरक का सेवन नहीं करना चाहिए।

प्रेगनेंसी में हार्ट बीट कितना होना चाहिए?

अध्ययन के मुताबिक भ्रूण की सामान्य हार्टबीट 120 से 160 बीपीएम होती है। वहीं प्रेगनेंसी के बाद के चरणों में भ्रूण की सामान्य हार्ट रेट 140 से 160 बीपीएम के बीच होती है। 

प्रेगनेंसी में वेट कितना होना चाहिए?

 

आमतौर पर प्रेगनेंसी की पहली तिमाही यानी कि 1 से 3 महीने के बीच एक महिला का वजन 1 से 2 किलो बढ़ना चाहिए। इसके बाद हर 2 हफ्ते में महिला का वजन लगभग 1 किलो बढ़ना चाहिए। वहीं यदि आपके जुड़वा बच्चे हैं तो पहली तिमाही में आपका वजन 1 से 2 किलो ही बढ़ेगा लेकिन उसके बाद आपका वजन हर हफ्ते 1 किलोग्राम बढ़ना चाहिए।

 

 

प्रेगनेंसी में हीमोग्लोबिन कितना होना चाहिए?

सामान्य महिला में 11 से 16 हीमोग्लोबिन होना चाहिए। वहीं यदि कोई महिला प्रेगनेंट है तो उसका हीमोग्लोबिन 12 से 15 के बीच होना चाहिए। 

प्रेगनेंसी में मेहंदी क्यों नहीं लगाते?

 

प्रेगनेंसी में मेहंदी लगाना सही नहीं माना जाता है क्योंकि केमिकल डाई से गर्भस्थ शिशु को नुकसान पहुंचता है। हालांकि, इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं सामने आया है। लेकिन फिर भी लोग सुरक्षा के मद्देयनजर गर्भावस्था के दौरान मेहंदी ना लगाने की सलाह देते हैं।  

 

 

 

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