बॉलीवुड एक्ट्रेस सोनाली बेंद्रे पिछले काफी समय से कैंसर जैसी जानलेवा बीमारी से जूझ रही हैं। उनका इलाज न्यूयॉर्क में चल रहा है जहां वो अक्सर कभी अपने दोस्तों के साथ तो कभी अपने बेटे के बारे में इंस्टाग्राम पर पोस्ट शेयर करती ही रहती हैं। पिछले दिनों खबर यह भी आई थी कि वो बॉलीवुड एक्टर ऋषि कपूर से भी मिलने गई थीं, जो न्यूयॉर्क में ही अपना इलाज कराने वहां पहुंचे हुए हैं। सोनाली बेंद्रे एक मिसाल और हर किसी के लिए प्रेरणा बन सकती हैं। आज उन्होंने अपनी एक और पोस्ट में जिंदगी के प्रति अपना नजरिया बयान किया है जिसे हम यहां शेयर कर रहे हैं। अपनी पोस्ट की शुरूआत उन्होंने चेरिल स्ट्रैंड की एक उक्ति के साथ की है जो इस तरह है-
चेरिल स्ट्रैड की उक्ति
“मुझे पता था कि अगर मैं डर को खुद पर कब्जा करने देती, तो मेरी यह यात्रा खत्म ही हो जाती। डर, काफी हद तक, एक ऐसी कहानी से पैदा होता है जिसे हम स्वयं खुद को सुनाते हैं। …और इसीलिए मैंने खुद को एक ऐसी कहानी सुनाने का फैसला किया जो दूसरी महिलाओं से अलग थी। मैंने निश्चित किया कि मैं सुरक्षित रहूं। मैं मजबूत थी। मैं बहादुर थी। मुझे कुछ भी डिगा नहीं सका। “- चेरिल स्ट्रैड, वाइल्ड।
जानें कौन से हैं महिलाओं में सबसे ज्यादा होने वाले पांच तरह के कैंसर और इनसे जुड़े लक्षण
अच्छे और बुरे दिन
पिछले कुछ महीनों में, मैंने अच्छे और बुरे दोनों तरह के दिन देखे हैं। ऐसे भी दिन हुआ करते थे, जब मैं इतनी थक जाती थी और इतने दर्द में थी कि एक उंगली तक उठाना मुश्किल था। कभी- कभी मुझे लगता है कि यह एक साइकल की तरह है… जो शारीरिक दर्द से शुरू होता है और फिर मानसिक और भावनात्मक दर्द बन जाता है। अब तक बहुत तरह के बुरे दिन आए हैं.. कीमोथेरेपी के बाद, सर्जरी के बाद और यहां तक कि हंसने के बाद भी होता है दर्द।
खुद के साथ लड़ाई
कभी-कभी ऐसा लगा कि इसने मेरा सबकुछ छीन लिया जिसे मैंने पिछले समय में सहेजा था। …खुद के साथ हर मिनट की लड़ाई। हालांकि मैं लंबे समय से लड़ रही थी, युद्ध के खत्म होने तक … लेकिन यह लड़ाई वाकई लड़ने के लायक थी। यह याद रखना बहुत जरूरी है कि हमें ऐसे बुरे दिन भी मिले थे। हमेशा खुद को खुश और उत्साहित करने के लिए मजबूर करना कोई मतलब नहीं रखता। हम कौन होते हैं झूठ बोलने और नाटक करने वाले ?
लोगों के लिए प्रेरणा बनीं कैंसर से जूझ रही सोनाली बेंद्रे, कहा- बाल्ड इज़ ब्यूटिफुल..
सच को स्वीकार करना है जरूरी
मैं भी रोई, दर्द महसूस किया और खुद पर तरस भी खाया … लेकिन कुछ ही देर के लिए। सिर्फ आप ही जानते हैं कि आप पर क्या गुज़र रही है। और इसे स्वीकार करना ही ठीक है। भावनाएं गलत नहीं होतीं। निगेटिव यानि नकारात्मक भावनाओं को महसूस करना भी गलत नहीं होता। लेकिन एक खास पॉइन्ट के बाद, इसे समझें, पहचानें, और इसे खुद पर काबू करने देने से रोक दें।
सोनाली बेंद्रे ने एक इमोशनल पोस्ट में लिखा कि कैसे बेटे को बताई कैंसर होने की बात
उस खास ज़ोन से बाहर निकलें
उस खास ज़ोन से बाहर आने के लिए अपना ध्यान अच्छी तरह रखने की जरूरत है। इसमें नींद हमेशा मदद करती है। और कीमोथेरेपी के बाद मेरी पसंदीदा स्मूदी खाना या सिर्फ अपने बेटे से बात करना.. मेरी बहुत मदद करता है। फिलहाल अभी के लिए, जैसा कि मेरा इलाज जारी है … मेरा विजुअल फोकस सिर्फ अपना स्वास्थ्य सुधारने और घर वापस जाने पर ही है।
यह एक और परीक्षा है …
पूरी जिंदगी छात्र बने रहना…
पूरी जिंदगी सीखना….
इसे भी पढ़ें –
कैंसर से जूझ रही हैं बॉलीवुड की जानी-मानी अदाकारा सोनाली बेंद्रे
कैंसर से जूझ रहीं सोनाली बेंद्रे ने न्यूयॉर्क से शेयर की अपनी पहली फोटो
Read More From लाइफस्टाइल
वास्तुशास्त्र में बताई गई इन 10 बातों को ध्यान रखेंगे तो आपकी लाइफ में होगा गुडलक ही गुडलक
Archana Chaturvedi
सुहाना खान ने बताया कैसे करती हैं Overthinking की आदत को मैनेज, आप भी कर सकते हैं ट्राई
Garima Anurag
फिट रहना चाहते हैं तो दीया मिर्जा का Fitness Mantra करें फॉलो, एक्ट्रेस पीती हैं कई तरह का पानी
Garima Anurag