सेक्स….ज़िंदगी का वो अहम हिस्सा जिसके बारे में हमारे दिल में बहुत सारे सवाल होते हैं और जिसे लेकर हम बहुत कुछ सोचते हैं। हम सभी ने अपनी सेक्स लाइफ़ को लेकर काफी कुछ सोचा होता है...फिर चाहें आप ये लाइफ़ जी रही हों या इसमें कदम रखने वाली हों, सेक्स से जुड़ी कईं बातें आपके दिल-दिमाग में चलती रहती होंगी। वैसे तो सेक्स के बारे में आपको जानकारी होगी पर शायद ही आपको ये अंदाज़ा होगा कि इनमें से बहुत-सी सेक्स से जुड़ी बातें जिन पर आप फैक्ट्स समझ कर यूं ही यकीन कर लेती हैं, आपकी गलतफहमी यानि मिथक मात्र हैं। मतलब वास्तविकता से उसका कोई लेना-देना नहीं है। हम आपको ऐसी ही कुछ बातें बता रहे हैं, जिनकी सच्चाई जानना आपके लिए है बेहद जरूरी।
सेक्स जानकारी में पहली बात ये है की कुछ लोग फोरप्ले के दौरान एक्सप्रेसिव रहते हैं, कुछ नहीं। कुछ लोग क्लाइमेक्स के दौरान चीख उठते हैं या आह-उह! की आवाज़ निकालते हैं, कुछ सिर्फ़ हांफ कर ही रह जाते हैं। मतलब ये कि आप और आपका पार्टनर सेक्स को भरपूर एंजॉय कर रहे हैं इसके लिए ज़रूरी नहीं कि आप दोनों आवाज़ के ज़रिए उसे ज़ाहिर करें। सेक्स का मतलब आनंद से होता है, आप बिना आवाज़ निकाले भी इसका आनंद ले सकती हैं।
अगर आपको सेक्स के बारे में जानकारी है तो आप जानती हैं कि ओरल सेक्स में भी न सिर्फ़ आनंद का बल्कि आपकी बॉडी-फ्लुइड्स का भी आदान-प्रदान होता है। इसमें भी आप अपने पार्टनर के साथ उसी तरह करीब होती हैं जितनी दूसरी तरह के सेक्स में होती हैं... फिर ये रियल सेक्स कैसे नहीं है।
अगर आप पीरियड के दिनों मे सेक्स के लिए सेफ मान रही हैं तो एक बार फिर सोचिए। आपको सेक्स सम्बन्धी ये जानकारी होनी चाहिए कि एक बार जब स्पर्म आपके फैलोपियन ट्यूब्स में आ गया, उसके बाद वो 3 दिन तक सरवाइव कर सकता है। इसलिए अगर आप अपने पीरियड के आखिरी दिनों में सेक्स कर रही हैं तो सेफ सेक्स करना ही बेहतर है। इसकी संभावना भले ही कम हो लेकिन ऐसा नामुमकिन बिल्कुल नहीं है।
जी नहीं, जब तक वो फैन्टेसी भरे ख्याल आप दोनों के दिमाग में हैं और आप दोनों सेक्स के दौरान उसे फील कर रहे हैं तब तक आप सेक्स में फैन्टेसी ला सकती हैं। बल्कि ये फैक्ट है कि फैन्टेसीज़ आपके सेक्स को और भी रोमांचक बनाती हैं।
अगर आप सच में ऐसा सोचती हैं तो आपको सेक्स की पूरी जानकारी नहीं है! इतनी बड़ी गलतफहमी मत पालो दोस्त! महिलाओं को भी सेक्स उतना ही पसंद है जितना कि पुरुषों को। वो भी उसके बारे में उतना ही सोचती और एक्साइटेड रहती हैं जितने कि पुरुष। हमारी जजमेंटल सोसाइटी में महिलाएं खुलकर इस बारे में बात नहीं कर पातीं पर इसका मतलब ये नहीं है कि वो सोचती ही नहीं।
विथ्ड्रावल वो कंडीशन है जिसमें पुरुष सेक्स के दौरान अपना स्पर्म महिला की बॉडी में नहीं बल्कि बाहर निकालता है। पर ये कोई कान्ट्रासेप्टिव नहीं है। सेक्स फैक्ट्स में ये बात भी जानना जरूरी है कि स्पर्म से पहले निकलने वाले फ्लूइड में भी स्पर्म के कुछ ट्रेसेज़ हो सकते हैं.. और अगर वो आपकी बॉडी में चले गए तो आप प्रोटेक्टेड नहीं हैं।
सेक्स के पहले ये जानकारी ज़रूरी है। एस.टी.डी. का मतलब वो बीमारियां जो सेक्स के दौरान हमें या हमारे पार्टनर को हो सकती हैं। ज़रूरी नहीं कि बीमारी के शुरू होते ही आपको उसके लक्षण नज़र आने लगें। कई बार महीने और साल लग जाते हैं ख्लेमीडीया, गोनोरहिया, सिफलिस, हर्पीस और यहां तक कि एच.आई.वी. को पहचानने में, इसलिए अगर आपकी सेक्स लाइफ एक्टिव है तो इसकी जांच ज़रूरी है।
ये कोई सेक्स सम्बन्धी फैक्ट नहीं और बिलकुल ज़रूरी नहीं है दोस्त..क्योंकि वैजाइनल कैनल के कुछ ही सेंटीमीटर तक वो नर्व्ज़ होते हैं जो सेक्सुअली एक्टिव होते हैं। बहुत बड़ा पेनिस किसी भी सेक्स की जरूरत नहीं है। कुछ समझीं आप!
ये आप से किसने कह दिया? आपको जानकारी है कि सेक्स के दौरान कंडोम प्रेग्नेंसी रोकने में 97% तक कामयाब होते हैं, पर इसका मतलब ये नहीं कि आप दो कंडोम का इस्तेमाल करेंगे तो बाकि 3% की सुरक्षा भी आपको मिल जाएगी..बल्कि इससे खतरा और बढ़ जाता है क्योंकि 2 कंडोम आपस में टकरा कर फट जाते हैं और सारे प्रोटेक्शन पर पानी फिर जाता है।
आपको सेक्स की जानकारी है तो आप खुद सोचिए, अगर सेक्स को एक बेहतरीन एक्सरसाइज़ माना जाता है तो आप इससे मोटी कैसे हो सकती हैं? दरअसल, शादी के बाद ये खाओ-वो खाओ के चक्कर में और नई लाइफस्टाइल में एडजस्ट करने की कोशिश में हम वेट गेन कर लेते हैं और सारा इल्ज़ाम सेक्स पर आ जाता है। नई बहू घर में बैठे-बैठे सिर्फ़ खाती-पीती रहेगी तो कुछ तो असर होगा ना!
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